सरकारी दफ्तरों के तबदील किये समय के कारण व्यस्त एयरपोर्ट रोड मोहाली पर यातायात हुआ सुविधाजनक
पंजाब सड़क सुरक्षा और यातायात अनुसंधान केंद्र द्वारा बदले गए दफ़्तरी समय के प्रभाव का विश्लेषण करने के लिए किया गया अध्ययन
ए. डी. जी. पी. ट्रैफिक ए. एस. राय ने मुख्यमंत्री भगवंत मान के फ़ैसले को नागरिक केंद्रित और पर्यावरण हितैषी बताया
चंडीगढ़, 3 मई (विश्ववार्ता): मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार की तरफ से सरकारी दफ्तरों के समय को तबदील करने वाले नागरिक-केंद्रित फ़ैसले से न सिर्फ़ बिजली की बचत हो रही है बल्कि मोहाली के व्यस्त एयरपोर्ट रोड पर ट्रैफ़िक घटने से लोगों का आना-जाना आसान हुआ है।
यह तथ्य पंजाब सड़क सुरक्षा और यातायात अनुसंधान केंद्र (पी. आर. एस. टी. आर. सी.) द्वारा दफ़्तरी समय बदलने के कारण ट्रैफ़िक यातायात पर पड़ने वाले प्रभावों का विश्लेषण करने के लिए किये गए अध्ययन के दौरान सामने आया है। इस फ़ैसले को लागू करने के पहले दिन एयरपोर्ट रोड (पीआ-7) पर भीड़-भाड़ में महत्वपूर्ण कमी आई है। 18-किलोमीटर लम्बी इस रोड पर टोम- टोम मैप्स के द्वारा किये गए ट्रैफ़िक विश्लेषण से पता लगा है कि पीक घंटों के दौरान औसत देरी 30-40 मिनटों से कम होकर अब सिर्फ़ 5-6 मिनट ही रह गई है।
ज़िक्रयोग्य है कि पंजाब सरकार ने व्यापक जनहित के लिए मंगलवार को सरकारी दफ्तरों का समय सुबह 9 से 5 बजे की जगह सुबह 7.30 से 2 बजे तक कर दिया है, जिससे हर रोज़ लगभग 350 मेगावाट बिजली बचेगी और साथ-साथ 2 मई से 15 जुलाई तक 40-45 करोड़ रुपए की बचत होने की उम्मीद है।
एडीशनल डायरैक्टर जनरल आफ पुलिस (एडीजीपी) ट्रैफ़िक ए. एस. राय ने कहा कि यात्रा के समय में कटौती से डीजल/पेट्रोल की खपत में भी कमी आयेगी, जिससे लागतों की बचत होगी जोकि 7500 लीटर डीजल/पेट्रोल की खपत बचेगी जिससे रोज़ाना 6.75 लाख रुपए की बचत होने का अनुमान है। उन्होंने कहा कि लागत की बचत के इलावा, भीड़-भाड़ में कमी वातावरण के लिए भी लाभदायक है, क्योंकि इससे ग्रीनहाउस गैसों और वायु प्रदूशकों की निकासी में भी कमी आयेगी।
अध्ययन में पाया गया कि पीक ऑवरज़ के दौरान, लगभग 7000 वाहन एक घंटे में एयरपोर्ट रोड (पीआर-7) से आते-जाते हैं, इनमें से 25 फीसद दोपहिया वाहन, 64 फीसद चार पहिया वाहन और बाकी 11 फीसद ट्रक, बसें, ट्रैक्टर, मल्टी-ऐकसल और अन्य हैं। एक अनुमान के मुताबिक इन वाहनों के लिए पाँच घंटों के दौरान 25 मिनट की फ़ाल्तू देरी से प्रति दिन 7500 लीटर डीजल/पेट्रोल की खपत होती है। तेल की बचत के अन्दाजे केंद्रीय सड़क अनुसंधान संस्थान, नई दिल्ली और इंडियन रोडज कांग्रेस द्वारा उपलब्ध अलग-अलग वाहनों के लिए वाहन चलाने की लागत पर आधारित हैं।
पी. आर. एस. टी. आर. सी. के डायरैक्टर डॉ. नवदीप असीजा ने कहा कि एयरपोर्ट रोड पर इस पहलकदमी की सफलता दूसरे शहरों और प्रमुख सड़कों के भीड़-भाड़ को घटाने, खर्चों को बचाने और साफ़ वातावरण को उत्साहित करने के लिए एक माडल के तौर पर अमल में लाई जा सकती है। उन्होंने आगे कहा कि राज्य के अन्य शहरों ने भी पहले दिन ऐसा ही प्रभाव देखा होगा, और वह भी इसके लम्बे समय के प्रभाव की आशा कर रहे हैं।
ज़िक्रयोग्य है कि पंजाब सड़क सुरक्षा और यातायात अनुसंधान केंद्र राज्य में भीड़-भाड़ को घटाने और टिकाऊ विकास को उत्साहित करने के लिए नवीन समाधान ढूँढने के लिए ठोस प्रयास कर रहा है।
——