कहा कि योजना पांच साल की अवधि में 10हजार करोड़ रूपए का खर्च आएगा
कहा कि योजना बड़े पैमाने पर लाभ लेने के लिए एक जिला एक उत्पादन का दृष्टिकोण अपनाएगा(पंजाब को आवंटित 67000 इकाईयां)
चंडीगढ़/29जूनः केंद्रीय खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री श्रीमती हरसिमरत कौर बादल ने आज पीएम माइक्रो फूड प्रोसेसिंग एंटरप्राइजेज( पीए एफएमई) योजना की शुरूआत की जिसमें देश भर में आठ लाख इकाइयों को सूचना तथा प्रशिक्षण विवरण देने के अलावा 35,000 करोड़ रूपए का निवेश और 9लाख अर्धप्रशिक्षित कामगारों को रोजगार मिलेगा।
श्रीमती हरसिमरत कौर बादल द्वारा आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत् शुरू की गई पीएम एफएमई योजना में पांच वर्षों में दो लाख उद्यमियों को शामिल किया जाएगा और इसके लिए 10हजार करोड़ रूपए का खर्च आएगा। इसमें पंजाब की 6700 यूनिट्रस को शामिल किया जागएा। इस योजना के तहत् होने वाले खर्च को केंद्र और राज्य सरकारों के बीच 60ः40 के अनुपात में बांटा जाएगा। इस योजना की घोषणा राज्यमंत्री रामेशवर तेली के साथ फूड प्रोसेंसिंग मंत्री द्वारा वीडियो कांफ्रेंस के बाद की गई।
यहां इस बारे में अन्य जानकारी देते हुए श्रीमती हरसिमरत कौर बादल ने कहा कि इस योजना में आदानों की खरीद, आम सेवाओं का लाभ उठाने तथा उत्पादों के मंडीकरण के मामले में बड़े पैमान पर लाभ उठाने के लिए एक जिला एक उत्पाद (ओडीओडीपी) दृष्टिकोण अपनाना शामिल है। राज्य में मौजूदा कच्चे माल की उपलब्धता को ध्यान में रखते हुए एक जिले के लिए एक खाद्य उत्पाद की पहचान करेंगें। ओडीओपी उत्पाद एक खराब उपज आधारित उत्पाद यां अनाज आधारित उत्पाद यां एक खाद्य उत्पाद व्यापक रूप से एक जिले तथा उससे जुड़े सैक्टरों से संबधित हो सकता है।उन्होने कहा कि अपनी इकाई के सुधार के इच्छुक मौजुदा व्यक्तिगत सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण इकाइयां इस परियोजना लागत का 35 फीसदी ऋण से जुड़ी पूंजी सब्सिडी का लाभ उठा सकती हैं, जिसमें अधिकतम 10 लाख रूपए प्रति यूनिट की अधिकतम सीमा है। उन्होने कहा कि पूंजी निवेश के साथ साथ आम बुनियादी ढ़ांचे के लिए सीड कैपिटल तथा केडिट लिक्ंड ग्रांट भी इकाइयों को उपलब्ध कराया जाएगा।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस योजना में क्षमता निर्माण और अनुसंधान पर विशेष ध्यान दिया गया है। उन्होने कहा कि राज्यों द्वारा चयनित राज्य स्तरीय तकनीकी संस्थानों के साथ साथ एमओएफपीआई के तहत दो अकादमिक और अनुसंधान संस्थानों एनआईएफटीईएम तथा आईआईएफपीटी को सूक्ष्म इकाइयों के लिए इकाइयों उत्पाद विकास, उपयुक्त पैकेजिंग और मशीनरी के प्रशिक्षण के लिए सहायता प्रदान की जाएगी। केंद्रीय मंत्री ने टीओपी ( टमाटर-प्याज-आलू) फसलों से सभी खराब होने वाले फलों और सब्जियों के लिए ऑपरेशन ग्रीन्स के विस्तार की भी घोषणा की। उन्होने कहा कि हस्तक्षेप का उद्देश्य फलों और सब्जियों के उत्पादकों को लॉकडाउन के कारण बिक्री के संकट से बचाना और फसल के बाद होने वाले नुकसान को कम करना था।
केंद्रीय मंत्री ने यह भी बताया कि एमओएफपीआई ई-लर्निंग प्रदान करने के लिए एनआईएफटीईएम और एफआईसीएसआई के सहयोग से एस सी तथा एस टी के उद्यमियों के लिए मुफ्त ऑनलाइन कौशल कक्षाएं शुरू करने की भी योजना बना रहा है। एमओएफपीआई ने बेकिंग जैसे 41 पाठयक्रमों जैसे जैम तथा अचार बनाना भी उपलब्ध हो, जिसके लिए डिजिटल सामग्री तक पहुंच उपलब्ध करवाई जाएगी। एक बार प्रमाणित होने के बाद इन उद्यमियों के पास रोजगार की बेहतर संभावना होगी यां वे अपना उद्योग शुरू कर सकते हैं।