पेट्रोल-डीजल की कीमतों ने लगाई आग, पंजाब व केंद्र सरकार जिम्मेदार: हरपाल सिंह चीमा
-अर्धनग्न होकर सड़कों पर रोष प्रदर्शन करने वाले भाजपा नेताओं ने क्यों साधी चुप्पी?
-भाजपा सरकार ने पेट्रोल पर एक्साइज ड्यूटी में 43 प्रतिशत और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी में 68.8 प्रतिशत की बढ़ोतरी
-पंजाब सरकार द्वारा पेट्रोल पर 31.17 प्रतिशत वैट और डीजल पर 19.56 प्रतिशत वैट वसूला जा रहा
चंडीगढ़, 02 नवंबर : आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब के वरिष्ठ एवं नेता प्रतिपक्ष हरपाल सिंह चीमा ने रोजाना पेट्रोल-डीजल की कीमतें और महंगाई बढ़ने के लिए केंद्र की नरेंद्र मोदी और पंजाब की चन्नी सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए इन्हें लोक विरोधी सरकारें करार दिया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि वर्ष 2014 से पहले पेट्रोल-डीजल की कीमतों और महंगाई में बढ़ोतरी होने पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता अर्धनग्न होकर सड़कों पर रोष प्रदर्शन करते थे। आज जब महंगाई के कारण लोगों का जीना दूभर हो गया है, वे सभी नेता चुप्पी साधे बैठे हैं।
पार्टी मुख्यालय से मंगलवार को जारी बयान में नेता प्रतिपक्ष हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि “पेट्रोल-डीजल की कीमतों और बढ़ती महंगाई पर प्रदर्शन करके और चुनावी मुद्दा बनाकर भारतीय जनता पार्टी देश की सत्ता पर काबिज हुई थी। लेकिन नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली भाजपा सरकार ने पेट्रोल पर एक्साइज ड्यूटी में 43 प्रतिशत और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी में 68.8 प्रतिशत बढ़ोतरी की है, जो देश के लोगों के साथ एक बड़ा धोखा है।” उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र की सरकार ने पेट्रोल-डीजल की कीमतों को डी-कंट्रोल तो जरूर किया लेकिन जब अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतें घटी तो उसका फायदा लोगों को नहीं दिया। इसके उलट जब कच्चे तेल की कीमतों में बढ़ोतरी हुई तो उसका भार लोगों की जेबों पर जरूर पड़ा, जो भारतीय जनता पार्टी की जन विरोधी मानसिकता दर्शाता है। हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि पेट्रोल-डीजल की कीमतों और महंगाई में बढ़ोतरी के लिए पंजाब की कांग्रेस सरकार भी मोदी सरकार जितनी ही जिम्मेदार है, जो महंगाई को कंट्रोल करने में असमर्थ सिद्ध हुई है। चीमा ने आरोप लगाया कि पंजाब में “पेट्रोल डीजल की कीमतें पड़ोसी राज्यों में से सबसे अधिक हैं, क्योंकि पंजाब सरकार द्वारा पेट्रोल पर 31.17 प्रतिशत वैट और डीजल पर 19.56 प्रतिशत वैट वसूला जा रहा है।” `आप’ नेता ने कहा कि पंजाब कृषि प्रधान राज्य है और डीजल का इस्तेमाल सबसे अधिक किसानों द्वारा किया जाता है, क्योंकि फसलों की बुवाई, सिंचाई, कटाई और मंडियों तक पहुंचाने के लिए विभिन्न मशीनरी डीजल पर ही चलती है। लेकिन आलम यह है कि पंजाब में डीजल की कीमत भी 100 रुपये तक पहुंच गई है, जिसका किसानों पर बहुत अधिक आर्थिक भार पड़ रहा है।
हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि डीजल-पेट्रोल पर वैट की दर पड़ोसी राज्यों से अधिक होने के कारण जहां उपभोक्ता लूटे जा रहे हैं, वहीं पेट्रोल पंप मालिक भी परेशान हो रहे हैं, क्योंकि उपभोक्ता पड़ोसी राज्यों के पंपों से पेट्रोल-डीजल खरीद रहे हैं। चीमा ने पंजाब सरकार और केंद्र सरकार से मांग की है कि पेट्रोल-डीजल पर लगाए गए टैक्स घटाए जाएं, ताकि इनकी कीमतें कम हो और महंगाई पर काबू पाया जा सके।