अपनी कुर्सी बचाने के लिए बार-बार राहुल गांधी के दरबार में माथा रगड़ रहे हैं कैप्टन अमरिन्दर सिंह-हरपाल सिंह चीमा
…पंजाब की जनता 2022 के चुनाव में कांग्रेस पार्टी के नेताओं से 2017 में किये वायदों हिसाब जरूर लेगी
चंडीगढ़, 23 जून : आम आदमी पार्टी के सीनियर नेता और पंजाब विधान सभा में नेता प्रतिपक्ष हरपाल सिंह चीमा ने दोष लगाया है कि मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह पंजाब को लवारस छोड़ कर अपनी कुर्सी बचाने के लिए बार-बार राहुल गांधी के दरबार में माथा रगड़ रहे हैं, क्योंकि कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने अपने कार्यकाल के दौरान कोई भी चुनावी वायदा पूरा नहीं किया, बल्कि नौकरियां मांग रहे बेरोजग़ार नौजवानों और सरकारी मुलाज़िमों को धोखा दिया है।
बुधवार को पार्टी के मुख्य दफ्तर से जारी बयान के द्वारा हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि श्री गुटका साहिब की कसम खा कर कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने पंजाब वासियों से बहुत से वायदे किये थे, परन्तु मुख्यमंत्री बनने के बाद कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने ओर वायदे तो क्या पूरे करने थे, श्री गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबी करने वाले दोषियों और सिक्खों पर गोली चलाने वालों साजिशकर्ताओं को भी अभी तक कोई सजा नहीं मिली। चीमा ने कहा आज पंजाब में हर दिन नकली शराब बनाने वाली फैक्टरियां पकड़ी जा रही हैं। बादलों के राज की तरह नशा माफिया, ट्रांसपोर्ट माफिया, रेत माफिया और गुंडागर्दी जारी है और पंजाब के लोग पुलिस और माफिया राज के जुल्मों से परेशान हैं। उन्होंने कहा खाने पीने वाली वस्तुओं की महंगाई शिखर पर पहुंच गई है और गरीब लोगों को गुजारा करना कठिन हो गया है, परन्तु कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार प्रदेश को छोड़ कर दिल्ली दरबार की हाज़िरी भरने में व्यस्त है।
हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि कैप्टन अमरिन्दर सिंह अपनी कुर्सी बचाने की खातिर गैर संवैधानिक और पंजाब विरोधी फैसले कर रहे हैं। आम लोगों की जगह अमीर कांग्रेसियों के बेटे बेटियों को नौकरियां दी गई हैं, जबकि आम लोगों के बेटे-बेटियां हर दिन पंजाब पुलिस की लाठियां से पीट रहे हैं। वेतन कमीशन के नाम पर पंजाब के मुलाज़िमों को मूर्ख बनाने के यत्न किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि पंजाब में कानून नाम की कोई चीज नहीं रह गई, क्योंकि कैप्टन अमरिन्दर सिंह पहले तो ठंडी वादियों में बैठे रहे और अब दिल्ली दरबार में कुर्सी बचाने के लिए मिन्नतें कर रहे हैं। चीमा ने पंजाब वासियों से अपील की है कि 2022 के चुनाव के दौरान कांग्रेस पार्टी के नेताओं से 2017 में किये चुनावी वायदों का हिसाब किताब जरूर लें।