पंजाब पुलिस द्वारा प्रदेश भर के 225 बस अड्डों पर चलायी गई तलाशी मुहिम
‘युद्ध नशों विरूद्ध’: 38वें दिन, पंजाब पुलिस ने 38 नशा तस्करों को किया गिरफ्तार; 2.2 किलो हेरोइन, 1.8 किलो अफीम बरामद
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के निदेशों के अनुसार पंजाब पुलिस पंजाब को नशा मुक्त प्रदेश बनाने के लिए वचनबद्ध
पुलिस टीमों ने छह जिलों की जेलों में भी तलाशी ली: विशेष डीजीपी अर्पित शुक्ला
चंडीगढ़, 7 अप्रैल (विश्व वार्ता) प्रदेश में नशे के पूर्ण खात्मे के लिए मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के निदेशों पर चलायी जा रही मुहिम ‘युद्ध नशों विरूद्ध’ के 38वें दिन, पंजाब पुलिस ने आज प्रदेश भर के 225 बस अड्डों पर घेराबंदी और तलाशी मुहिम चलायी।
यह ऑपरेशन डायरैक्टर जनरल ऑफ पुलिस (डीजीपी) पंजाब गौरव यादव के निर्देशों पर प्रदेश के सभी 28 पुलिस जिलों में एक साथ चलाया गया। विशेष डायरैक्टर जनरल ऑफ पुलिस (विशेष डीजीपी) कानून और व्यवस्था अर्पित शुक्ला, जो इस राज्य स्तरीय कार्रवाई की निजी तौर पर निगरानी कर रहे थे, के द्वारा सभी सीपी/एसएसपी को इस कार्रवाई को सफल बनाने के लिए सुपरिटेंडेंट ऑफ पुलिस (एसपी) रैंक के अधिकारियों की निगरानी में भारी पुलिस बल तैनात करने को यकीनी बनाने के लिये कहा गया था।
उन्होंने बताया गया कि इस ऑपरेशन के दौरान प्रदेश के लगभग 225 बस अड्डों पर करीब 2947 लोगों की तलाशी ली गई। इसके अतिरिक्त पुलिस टीमों ने नशीले पदार्थों के खिलाफ अपनी मुहिम जारी रखते हुए आज 466 स्थानों पर छापेमारी की, जिसके दौरान प्रदेश भर में 31 एफआईआर दर्ज करने के बाद 38 नशीला पदार्थ तस्करों को गिरफ्तार किया गया। इस प्रकार 38 दिनों के अंदर गिरफ्तार किए गए कुल नशीला पदार्थ तस्करों की संख्या 5239 हो गई है।
विशेष डीजीपी ने कहा कि छापेमारी के बाद गिरफ्तार किए गए नशा तस्करों के कब्जे से 2.2 किलो हेरोइन, 1.8 किलो अफीम और 17,600 रुपये ड्रग मनी बरामद की गई है।
इस संबंधी विवरण साझा करते हुए विशेष डीजीपी कानून और व्यवस्था अर्पित शुक्ला ने बताया कि 87 गजटिड अधिकारियों की निगरानी में 1200 से अधिक पुलिस मुलाजिमों की गिनती वाली 200 से अधिक पुलिस टीमों ने राज्यभर में 481 स्थानों पर छापेमारी की है।
उन्होंने कहा कि पंजाब पुलिस ने एक व्यापक रणनीति तैयार की है और ऐसे ऑपरेशन प्रदेश से नशे की बुराई के पूर्ण खात्मे तक जारी रहेंगे।
विशेष डीजीपी ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा पंजाब में नशे के पूर्ण खात्मे के लिए तीन-आयामी रणनीति – इनफोर्समेंट, डी-एडिक्शन एंड प्रिवेंशन (ईडीपी) – लागू की गई है, जिससे पंजाब पुलिस ने ‘नशा मुक्ति’ के हिस्से के रूप में एक व्यक्ति को नशा मुक्ति और पुनर्वास के लिए इलाज करवाने के लिए राजी किया है।
गौरतलब है कि पंजाब पुलिस ने जेल में किसी भी प्रकार की गैर-कानूनी गतिविधियों को रोकने के लिए छह जिलों कमिशनरेट अमृतसर, पठानकोट, गुरदासपुर, बटाला, अमृतसर ग्रामीण और तरनतारन की विभिन्न जेलों में भी तलाशी मुहिम चलाई। विशेष डीजीपी अर्पित शुक्ला ने कहा कि हमारी पुलिस टीमों द्वारा जेल परिसर में बैरकों, रसोई घरों और शौचालयों सहित प्रत्येक कोने की अच्छी तरह से तलाशी ली गई।