मोदी सरकार का सीधा हमला है बांधों से पुलिस और चंडीगढ़ से पंजाब के कर्मचारियों को बाहर करना: भगवंत मान
-बीजेपी के साथ कैप्टन और ढींडसा भी बताएं पंजाब पुलिस की जगह केंद्रीय सुरक्षा बल राज्य के बांधों पर क्यों तैनात हैं? भगवंत मान
-तानाशाही है चंडीगढ़ के स्वास्थ्य विभाग से पंजाब के अधिकारियों, कर्मचारियों का डेपुटेशन खत्म करना
– पंजाब विरोधी फैसले वापस ले केंद्र की भाजपा सरकार
चंडीगढ़, 3 मार्च आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार और सांसद भगवंत मान ने आरोप लगाया, “केंद्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार लगातार पंजाब को उसके अधिकारों से वंचित कर रही है। भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड (बीबीएमबी) में पंजाब की सदस्यता खत्म करने के बाद मोदी सरकार ने अब पंजाब पुलिस को बांधों की सुरक्षा से हटाने और राज्य के डॉक्टरों को चंडीगढ़ की सरकारी सेवाओं से हटाने का फैसला लिया है। मान ने मोदी से अपील की कि सरकार पहले से पीड़ित पंजाबियों के अधिकारों को लूट कर उन्हें और अधिक परेशान न करे और बांधों सहित चंडीगढ़ में पंजाब के अधिकारों को बहाल किया जाएग।
गुरुवार को पार्टी मुख्यालय से जारी बयान में भगवंत मान ने कहा कि पंजाब विधानसभा चुनाव के मद्देनजर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने लगातार पंजाब विरोधी फैसलों को लागू किया है। कांग्रेस के बाद भाजपा सरकार पंजाब की धरती पर बने भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड (बीबीएमबी) से पंजाब को बाहर करने के फैसले को लागू कर रही है। मान ने कहा, “मोदी सरकार ने भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड में पंजाब की सदस्यता को खत्म कर बांधों की सुरक्षा में तैनात पंजाब पुलिस बल को भी हटा दिया है।” बोर्ड के तीन बांधों की सुरक्षा के लिए केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल तैनात करने का फैसला किया है, जबकि बांधों की सुरक्षा पर खर्च किए गए 90 करोड़ रुपये पंजाब सहित हितधारकों से वसूले जाएंगे। मान ने कहा कि मोदी सरकार के इस फैसले ने एक तरफ पंजाब के युवाओं से रोजगार छीन लिया, दूसरी ओर पंजाब पर सुरक्षा का खर्चा थोप दिया है।
भगवंत मान ने कहा कि मोदी सरकार ने पंजाब की जमीन पर बने आधुनिक शहर और राजधानी चंडीगढ़ से 112 डॉक्टरों को बाहर कर दिया है। उन्होंने कहा कि पंजाब पुनर्गठन अधिनियम के तहत पंजाब का 60 प्रतिशत हिस्सा चंडीगढ़ में सभी प्रकार की सेवाओं और प्रबंधन में आरक्षित है, जिसके तहत चंडीगढ़ की पुलिस,स्कूलों, अस्पतालों और अन्य सेवाओं में पंजाब के पुलिसकर्मियों, शिक्षकों, डॉक्टरों और अन्य कर्मचारियों को डेपुटेशन पर तैनात किया जाता रहा है । लेकिन मोदी सरकार ने चंडीगढ़ में पंजाब का डेपुटेशन खत्म करने का फैसला लागू कर दिया है, जिस कारण शहर के स्वास्थ्य विभाग से पंजाब के 112 डॉक्टरों को हटा दिया और अन्य राज्यों समेत केंद्र शासित प्रदेशों से डॉक्टरों को भर्ती करने का नोटिस जारी किया है।
मान ने कहा कि पहले केंद्र की कांग्रेस सरकारों ने पंजाब के अधिकारों पर हमला किया था, अब भाजपा के नेतृत्व वाली मोदी सरकार भी इसी रास्ते पर चल रही है। भाजपा की मोदी सरकार राज्यों के अधिकारों पर हमले करने पर लगी हुई है, जो भारत की संघीय व्यवस्था पर भी सीधा प्रहार है।
भगवंत मान ने पंजाब के अधिकारों पर किए गए हमलों के लिए पूर्व मुख्यमंत्रियों प्रकाश सिंह बादल और कैप्टन अमरिंदर सिंह को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने भाजपा के साथ चुनावी गठबंधन में शामिल दलों सुखदेव सिंह ढींडसा और कैप्टन अमरिंदर सिंह को चुनौती दी कि वे पंजाब के अधिकारों पर मोदी सरकार द्वारा किए जा रहे हमलों पर अपनी स्थिति स्पष्ट करें। मान ने कहा कि 10 मार्च को बनने वाली आम आदमी पार्टी की सरकार पंजाब के हितों के लिए सड़कों से लेकर संसद और सुप्रीम कोर्ट तक लड़ाई लड़ेगी।